About Me

I write poems - I m going towards me, I write stories - किस्से ओमी भैय्या के, I write randomly - squander with me

Tuesday, October 25, 2016

ये दिल हैं मुश्किल


ये दिल 
हैं मुश्किल 
तुझे समझाना
मिलेगी
जहाँ ठोकर
फिर वहां क्यों जाना 

जो दीखता हैं सच सा
वो सच तो नहीं हैं
जो लगता हैं अपना सा
वो अपना तो नहीं हैं 
फिर कोई नया झूट
आया हैं सवंर के
इससे तू बच के रहना 

कहने को हैं वादे 
बस कह के ही रह जाते 
और तू हैं कि सजा ले 
दुनिया अपनी उनके भरोसे 
कैसे समझाऊ तुझे 
सिर्फ बातें हैं ये सारी
इनके फेरो में तू न आना 

ये दिल 
हैं मुश्किल 
तुझे समझाना
टुटा जो 
फिर से तू
मुझे ही हैं तुझे मनाना